पंजाब:- किसान संगठनों द्वारा बुलाए गए चार बजे तक के पंजाब बंद का आंशक असर रहा।बाजारों मे अन्य दिनों की तरह समान्य काम काज रहा। राष्ट्रीय राज मार्गों पर धरना प्रदर्शन के कारण लोगों को समस्याओं का सामना करना पड़ा। कुछ लोगों को प्रिय जन की अंत्येष्टि में जाना था व कुछ को अपने मरीज को हॉस्पिटल लेकर जाना था। राष्ट्रीय राजमार्गों पर यातायात चार बजे तक पूरी तरह अवरूद्ध रहा। कई जगहों पर राहगीरों की प्रदर्शनकारियों से बहस भी हुई।
नरेश अग्रवाल,सौरव शर्मा, किशन कांत,अमित मेहता,गुरप्रीत सिंह, अनमोल सिंह,गुरजीत सिंह व नरेश भाटिया आदि राहगीरों ने कहा कि किसानों को सरकार के साथ बातचीत करनी चाहिए ताकि उसका उचित समाधान निकल सके। किसानों को अड़ियल रवैया छोड़ कर समाधान निकालना चाहिए।आम नागरिक को हो रही परेशानी से किसान सहानुभूति खो रहे हैं। किसान रेल व सड़क मार्ग पर धरना देकर किस समय वंद कर देंगे यह कोई नहीं कह सकता। उन्होंने कहा कि यदि परिस्थितियों इस प्रकार की रही तो पंजाब में आने कौन उधोग लगाऐगा? इससे न केवल उधोग ही प्रभावित होंगे वल्कि पंजाब की अर्थव्यवस्था पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा। फोटो कैप्शन लुधियाना में खुले बाजार,राहों रोड़ पर वंद के कारण रुके टिप्पर